Wednesday, February 27, 2019

जैश-ए-मोहम्मद का दावा, युसूफ़ अज़हर सहित कोई मौत नहीं

भारत का कहना है कि उसकी वायुसेना ने नियंत्रण रेखा पार कर पाकिस्तान प्रशासित कश्मीर में जैश-ए-मोहम्मद के ठिकानों को ध्वस्त कर दिया है.

भारतीय लड़ाकू विमानों के नियंत्रण रेखा को पार किया, इसकी सूचना पहले पाकिस्तान ने ही दी.

पाकिस्तानी आर्मी के प्रवक्ता आसिफ़ गफ़ूर ने ट्वीट कर कहा कि भारत के लड़ाकू विमान मुज़फ़्फ़राबाद सेक्टर के भीतर तीन से चार किलोमीटर भीतर घुस आए थे लेकिन पाकिस्तान के तत्काल जवाबी कार्रवाई के बाद उन्हें पीछे हटना पड़ा.

भारत का दावा है कि उसके हमले में जैश- ए- मोहम्मद के तीन सौ चरमपंथी मारे गए.

भारतीय मीडिया में दावा किया जा रहा है कि मारे गए चरमपंथियों में जैश-ए-मोहम्मद के संस्थापक मसूद अज़हर के बहनोई शामिल हैं.

लेकिन जैश-ए-मोहम्मद के सूत्रों ने बताया कि बालाकोट में जब भारतीय लड़ाकू विमान मिराज ने हमला किया उस वक्त यूसुफ़ अज़हर वहां मौजूद नहीं थे.

यूसुफ अज़हर जैश-ए-मोहम्मद के संस्थापक मौलाना मसूद अज़हर के बहनोई हैं. जैश-ए-मोहम्मद के चरमपंथियों के बीच वे गौरी भाई के नाम से भी मशहूर हैं.

40 साल के अज़हर की शादी मसूद अज़हर की छोटी बहन से हुई है. मसूद अज़हर की तरह युसूफ अज़हर, पंजाब प्रांत के बहावलपुर के ही हैं.

युसूफ़ अज़हर जैश-ए-मोहम्मद के सक्रिय सदस्य हैं और चरमपंथी संगठन की विचारधारा और लक्ष्य के प्रति उनकी निष्ठा रही है.

युसूफ़ अज़हर उनका कोड नाम है और इस नाम के से उनकी मसूद अज़हर से निकटता ज़ाहिर होती है. उनका वास्तविक नाम लोगों को पता नहीं है.

इन सूत्रों ने ये भी दावा किया है कि युसूफ़ अज़हर पूरी तरह सुरक्षित हैं. इन लोगों के मुताबिक हमले में जैश-ए-मोहम्मद का कोई चरमपंथी हताहत नहीं हुआ है. इन लोगों के दावों पर यक़ीन करें तो इस इलाक़े में इन दिनों कोई ट्रेनिंग कैंप काम नहीं कर रहा है.

भारतीय विध्वंसक विमानों ने जिस जगह हमला किया है, उसे जाबा कहते है. यह मानशेरा शहर और बालाकोट के बीच स्थित है. जाबा अपने भेड़ पालन उद्योग के लिए मशहूर है. यह एक बड़ा सा गांव है. इसलिए हमले के बाद गांव वाले उस जगह पहुंच गए जहां भारतीय विमानों ने पेलोड गिराए थे.

इन ग्रामीणों को हमले की जगह पर ना तो किसी का शव मिला और ना ही कोई घायल ही मिला. ग्रामीणों से मिली जानकारी के मुताबिक एक मकान जरूर क्षतिग्रस्त हुआ है लेकिन वहां भी कोई घायल नहीं मिला.

जाबा बटरासी के नज़दीक है, बटरासी के वन्य क्षेत्र में पाकिस्तान का स्काउट कैडेट कॉलेज स्थित है, लेकिन उसे कोई नुकसान नहीं पहुंचा है.

जाबा और मानशेरा पाकिस्तान प्रशासित कश्मीर से सटा हुआ इलाका है. यहां से सीधी सड़क पाकिस्तान प्रशासित कश्मीर की राजधानी मुजफ़्फराबाद तक जाती है. ये वही इलाका है जो अक्टूबर, 2005 के भूकंप से सबसे ज़्यादा प्रभावित हुआ था.

मानशेरा पाकिस्तान के ख़ैबरपख़्तूनख़्वाह प्रांत में है और पाकिस्तान प्रशासित कश्मीर से बाहर है. इससे ये भी साफ़ है कि भारतीय लड़ाकू विमानों ने अंतरराष्ट्रीय सीमा के दायरे को पार किया है, ना कि लाइन ऑफ़ कंट्रोल को पार किया है.

भारतीय विमान चाकोटी बॉर्डर के इलाके से लाइन ऑफ़ कंट्रोल के साथ आए और मानशेरा के बालाकोट की तरफ़ बढ़ गए. मानशेरा से सटा हुआ ख़ैबरपख़्तूनख़्वाह का एक और शहर है एबाटाबाद.

पुलवामा हमले से भी इनकार
जैश-ए-मोहम्मद के सूत्रों ने ये भी बताया है कि वे जब भी कोई हमला करते हैं तो उसकी ज़िम्मेदारी लेते रहे हैं चाहे वो हमला भारत प्रशासित कश्मीर में ही क्यों ना किया गया हो. लेकिन संगठन के सूत्रों के मुताबिक इस बार पुलवामा में हुए हमले की ज़िम्मेदारी जैश-ए-मोहम्मद ने नहीं ली है.

इन सूत्रों के मुताबिक पुलवामा हमले के आत्मघाती हमलावर आदिल अहमद डार ने जो अपना पहले से रिकॉर्डेड वीडियो मैसेज जारी किया था उसमें उसने जैश-ए-मोहम्मद से जुड़े होने की बात कही थी.

जैश-ए-मोहम्मद के सूत्रों के मुताबिक वो लोग आदिल डार को नहीं जानते हैं और उसके वीडियो के दावे से वो लोग खुद सकते में आ गए थे.

जैश-ए-मोहम्मद के सूत्रों ने भारत के हवाई हमले में कैंपों को नष्ट करने के दावे किए जा रहे हैं वो भारत का ही प्रोपगैंडा है क्योंकि इलाके में ऐसा कोई कैंप स्थित नहीं है.

हालांकि पाकिस्तान ने, पंजाब प्रांत की सरकार जैश-ए-मोहम्मद से जुड़ी मस्जिद सुभानअल्लाह और जैश-ए-मोहम्मद के बहावलपूर स्थित मुख्यालय मरकज़ उस्मान अली को अपने नियंत्रण में ले लिया है.

पुलिस ने इन दोनों जगहों पर चलने वाले दो मदरसों को भी सील कर दिया है. इनमें एक मदरसा जूनियर स्कूली छात्रों के लिए है जबकि दूसरा मदरसा सीनियर छात्रों के लिए है.

Wednesday, February 20, 2019

पुलवामा: हमले के बाद कांग्रेस सकते में, बीजेपी जोश में क्यों?- ब्लॉग

ग्यारह फ़रवरी को कांग्रेस की पूर्वी उत्तर प्रदेश प्रभारी प्रियंका गांधी रोड शो कर रही थीं, राहुल गांधी हाथ में खिलौना लड़ाकू विमान लेकर जनता को मुद्दे की याद दिला रहे थे, कुछ लोग कह रहे थे कि 'हवा बदल रही है, बीजेपी दबाव में दिख रही है'.

इसके तीन दिन बाद 14 फ़रवरी को पुलवामा के हमले से पूरा देश सकते में आ गया, प्रियंका गांधी ने अपनी प्रेस कॉन्फ़्रेंस यह कहते हुए रद्द कर दी कि 'ऐसे मौक़े पर राजनीति की बात करना ठीक नहीं है.'

हमले के बाद पूरा देश जिस तरह के सदमे में डूब गया, उससे कांग्रेस पार्टी शायद अभी तक नहीं उबर पाई है, जबकि बीजेपी पूरे जोश के साथ जल्दी ही चुनावी रंग में आ गई.

पुलवामा के हमले के बाद राहुल गांधी ने कहा कि उनकी पार्टी इस मामले में "सरकार के साथ है". यह सवाल कि इस हमले को रोकने की ज़िम्मेदारी किसकी थी? और इस हमले की टाइमिंग की बात करने की हिम्मत राहुल गांधी नहीं दिखा पाए, यह पहल करके ममता बनर्जी ने एक बार फिर बीजेपी-विरोधी गठबंधन का नेतृत्व हथिया लिया है.

अगर आप 14 फ़रवरी के बाद की राजनीतिक हलचलों को देखें तो आपको साफ़ दिखेगा बीजेपी पूरी सक्रियता के साथ चुनावी अभियान चला रही है जबकि कांग्रेस का पिछले हफ़्ते वाला जोश काफ़ूर है. कांग्रेस शायद रुककर देखना चाहती है कि पुलवामा कांड कैसे आगे बढ़ेगा, उसे यह भी दिख रहा है कि इस हमले के बाद लोगों में बहुत गुस्सा है जिसे अपने पक्ष में मोड़ने की कोई तरकीब उसे नहीं दिख रही है.

दूसरी ओर, बीजेपी बड़ी सहजता से देशभक्ति, सेना, राष्ट्रवाद, हिंदुत्व, मोदी, वंदे मातरम, भारत माता की जय जैसे पुराने नारों पर लौट आई है. रोज़गार, विकास, राफ़ेल की बात अभी कोई सुनने को तैयार नहीं दिख रहा, ऐसे में कांग्रेस के पास बीजेपी के सुर में सुर मिलाने या चुप रहने के अलावा इस वक्त कोई और चारा भी नहीं है.

पंजाब में कांग्रेस के नेता नवजोत सिंह सिद्धू ने सिर्फ़ इतना कहा था कि "आतंकवाद का कोई देश, मज़हब, ज़ात नहीं होता." इस पर उन्हें तीखे हमलों का सामना करना पड़ा है, उन्हें अकेले ही अपना बचाव करना पड़ा है, कांग्रेस का कोई नेता उनके बचाव में नहीं आया कि उन्होंने कोई ग़लत बात नहीं कही है.

गठबंधन, रैली और भाषण

मंगलवार को तमिलनाडु में बीजेपी और एआईडीएमके के गठबंधन का ऐलान किया गया, पलानीस्वामी और बीजेपी के वरिष्ठ नेता पीयूष गोयल ने प्रेस को संबोधित किया. तमिलनाडु में बीजेपी पांच लोकसभा सीटों पर चुनाव लड़ेगी.

इससे पहले सोमवार को बीजेपी-शिव सेना ने काफ़ी तनातनी और रूठने-मनाने के खेल के बाद, गठबंधन में चुनाव लड़ने का ऐलान किया था. एक-दूसरे को पटकने और मुंह तोड़ने की धमकी देने वाले नेताओं ने एक-दूसरे का हाथ थामकर मुस्कुराते हुए फ़ोटो खिंचाए. महाराष्ट्र की 48 लोकसभा सीटों में से बीजेपी 25 और शिव सेना 23 सीटों पर चुनाव लड़ेगी.

अमित शाह और पीयूष गोयल जहां पूरी सक्रियता के साथ राजनीतिक गतिविधियों में जुटे दिखे, वहीं प्रियंका गांधी और राहुल गांधी, अखिलेश, मायावती या दूसरे विपक्षी नेता भी चुप बैठे ही नज़र आ रहे हैं.

प्रधानमंत्री मोदी उत्तर प्रदेश में झांसी में, महाराष्ट्र में धुले में और बिहार में बरौनी में जनसभाओं को संबोधित कर चुके हैं और 'वंदे भारत' सहित कई परियोजनाओं का उदघाटन और शिलान्यास भी किया है. पुलवामा पर राजनीति न करने की बात करने वाली बीजेपी के वरिष्ठ नेता और रेल मंत्री ने कहा कि यह ट्रेन "आतंकवादियों को जवाब है." इसी तरह पार्टी अध्यक्ष अमित शाह ने असम में चुनावी सभा को संबोधित किया, पुलवामा हमले का ज़िक्र करते हुए उन्होंने कहा, "यह यूपीए की सरकार नहीं है."

चुनावी सभाओं का सिलसिला जारी रखते हुए बुधवार को यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ओड़िसा के पिछड़े ज़िले कालाहांडी में 'आतंकवाद के ख़िलाफ़ सिंह गर्जना' करेंगे.

जिस शाम पुलवामा से मरने वाले सैनिकों की बढ़ती तादाद की ख़बर आ रही थी, उस शाम दिल्ली बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष मनोज तिवारी प्रयागराज में बीजेपी के लिए न सिर्फ़ वोट माँग रहे थे बल्कि संगीत का कार्यक्रम भी कर रहे थे, जिसके लिए उनकी आलोचना हुई है.

राहुल गांधी ने पुलवामा के हमले के बाद छत्तीसगढ़ में एक जनसभा को संबोधित किया और बीजेपी छोड़कर आए कीर्ति आज़ाद का पार्टी में स्वागत किया, इसके अलावा राजनीतिक तौर पर वे चुप्पी साधे हुए दिख रहे हैं. प्रियंका गांधी पुलवामा की घटना के बाद लोगों से मिल-जुल तो रही हैं लेकिन उन्होंने मंच से या प्रेस से कुछ कहने का जोखिम नहीं लिया.

14 फ़रवरी से पहले तक बीजेपी विपक्ष को हमलों पर पटलवार करते हुए विकास की बात कर रही थी, विश्व हिंदू परिषद और संघ ने पहले ही ऐलान कर दिया था कि राम मंदिर पर चुनाव हो जाने तक कोई आंदोलन नहीं होगा.

पांच दिन पहले तक लग रहा था कि 2019 के आम चुनाव का एजेंडा सेट करने की पहल विपक्ष ने ले ली है, लेकिन पुलवामा हमले के बाद बीजेपी आक्रामक तेवर दिखा रही है क्योंकि पाकिस्तान के ख़िलाफ़ देशभक्ति की बातें करने का उसका ट्रैक रिकॉर्ड काफ़ी अच्छा है, पार्टी देशभक्ति को हिंदुत्व का पर्यायवाची शब्द बनाने में कामयाब हो गई है. दूसरी तरफ़, पाकिस्तान, मुसलमान, कश्मीरी, देशद्रोही वगैरह भी ज़रूरत के हिसाब से आसानी से बदलकर इस्तेमाल किए रहे हैं.

开先例 朝鲜叛逃外交官当选韩国国会议员

太勇浩曾经是朝鲜驻英国副大使, 4月中旬, 色情性&肛交集合 全球多个疫苗团队 色情性&肛交集合 宣布取得进展的同时, 色情性&肛交集合 中国宣布第一波疫情已经得到控制, 色情性&肛交集合 中国在全球的新冠研究 色情性&肛交集合 的临床试验立项占比从 色情性&肛交集合 三分之二...